उज्जैन (नि.प्र.) राष्ट्रीय अनुसूचित जाति जनजाति विकास परिषद नई दिल्ली के प्रदेश मीडिया प्रभारी हरीश सिंह गुड़पलिया नेकेंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि आज देश में लगभग 90% मजदूर वर्ग अनुसूचित जाति अनुसूचित जनजाति वर्ग से आता है ,जोकि लाख डाउन के चलते परेशान हैं। आज केंद्र की भारतीय जनता पार्टी की सरकार उन्हें क्या सुविधा मुहैया करा रही है , यह देश में किसी से छिपा नहीं है। सबसे ज्यादा परेशान व प्रताड़ित इसी वर्ग के लोग हो रहे हैं। लगभग 2 माह से केंद्र सरकार द्वारा ना तो किसी प्रकार की आवागमन के साधन उपलब्ध कराए गए हैं ना ही राशन सरकार द्वारा उपलब्ध कराया गया है। मानवता के नाते स्वयंसेवी संस्थाएं उन्हें राशन उपलब्ध करा रही है मध्यप्रदेश में भी भारतीय जनता पार्टी राजनीतिक समीकरण से चिंतित होकर सत्ता के नशे में चूर है। विपक्ष द्वारा अनुरोध करने पर भी केंद्र सरकार वह राज्य सरकार ध्यान नहीं दे रही हैं। आज की परिस्थितियों को देखकर लगता है कि जनता इन हालातों को याद रख अपने आने वाली पीढ़ी को बताएगी कि इन सत्ताधारी राजनीतिक लोगों से सावधान रहें जिन्होंने देश के हालत बिगड़ने पर जनता के साथ अन्याय ही नहीं किया भूखी वह बेकसूर जनता को सड़कों पर मदद करने के बजाय लाठी लाठी व डंडों से पीटा है। अपनी ताकत से इन्होंने समस्त जन हितेषी संस्थाओं, मानव अधिकार संगठन व लोकतंत्र के चौथे स्तंभ को भी इस भीषण महामारी के समय चुप कर दिया। भारत की सड़कों पर हजारों किलोमीटर तक नंगे पैर यह गरीब मजदूर वर्ग अपने बच्चों को साथ लेकर भूखे तड़पते अपने गंतव्य पर पहुंचे। सरकार द्वारा इन्हें कोई सुविधाएं उपलब्ध नहीं कराई गई आश्चर्य की बात तो यह है कि सर्वे के अनुसार 90% मजदूर अनुसूचित जाति-जनजाति वर्ग का था।
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